Tuesday, 22 August 2017

गन्धर्व वेद

मुख्य मेनू खोलें  खोजें संपादित करेंइस पृष्ठ का ध्यान रखें गन्धर्व वेद गंधर्व वेद चार उपवेदों में से एक उपवेद है। अन्य तीन उपवेद हैं - आयुर्वेद, शिल्पवेद और धनुर्वेद। गन्धर्ववेद के अन्तर्गत भारतीय संगीत, शास्त्रीय संगीत, राग, सुर, गायन तथा वाद्य यन्त्र आते है। परिचय संपादित करें भारतीय शास्त्रीय संगीत की उत्पत्ति वेदों से मानी जाती है। सामवेद में संगीत के बारे में गहराई से चर्चा की गई है। भारतीय शास्त्रीय संगीत गहरे तक आध्यात्मिकता से प्रभावित रहा है, इसलिए इसकी शुरुआत मनुष्य जीवन के अंतिम लक्ष्य मोक्ष की प्राप्ति के साधन के रूप में हुई। संगीत की महत्ता इस बात से भी स्पष्ट है कि भारतीय आचार्यों ने इसे 'पंचम वेद' या गंधर्व वेद की संज्ञा दी है। भरत मुनि का नाट्यशास्त्र पहला ऐसा ग्रंथ था जिसमें नाटक, नृत्य और संगीत के मूल सिद्धांतों का प्रतिपादन किया गया है। बाहरी कड़ियाँ संपादित करें Last edited 3 years ago by Sanjeev bot RELATED PAGES भारतीय संगीत धनुर्वेद कुमार गन्धर्व सम्मान  सामग्री CC BY-SA 3.0 के अधीन है जब तक अलग से उल्लेख ना किया गया हो। गोपनीयताडेस्कटॉप

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